भील गोत्र ,480 भील गोत्र का संग्रह - भारत के मुल निवासी

सोमवार, 7 जून 2021

भील गोत्र ,480 भील गोत्र का संग्रह

भीलों के गोत्र 

 भील समाज में अनेक गोत्र हैं । भीलों के गोत्र को अटक कहा जाता है । समगोत्र में विवाह करना वर्जित होता है । इनकी गोत्र व्यवस्था हिन्दुओं के समान होती है । अगर कोई गोत्र छुट गया हो तो कमेंट में जरुर बताये और साथ में ये भी बताये की इनमे से आपकी गोत्र कोनसी है आप कोन  से राज्य से हो और पोस्ट की जानकारिया पाने के लिए इस ब्लॉग को subscraibe भी कर लेना 

 भीलों के प्रमुख गोत्र इस प्रकार है : 
bhil gotr


अंगारो ,
 अमरात , अहारी , उठेड़ , उदावत , कटार , कपाया , कलउवा , कालासुआ , कसौटा , कूरिया , कोटेड , खखड़ , खराड़ी , खेतात , खेर , खोखरिया , गमार , गमेती , गरासिया , गोगरा , गोरणा , घुघरा , घोड़ा , चदाणा , चवणा , चरपोटा , जोगात , जोसियाल , झड़पा , डगासा , डागर , डाणा , डाबी , डामर , डामरल , डामोर , डीडोर , डूंगरी , डोडीयाट , तंवर , ताबियार , तावड़ , ताबेड़ , तेजोत , दमणात , दरांगी , दाणा , दामा , दायणा , दायमा , धलोवियो , धांगी , धोरणा , नगामा , ननोत , ननोमा , नीनामा , नीबो , नीयवात , पड़ियार , पटेला , पटेल , परमार , पांडेर , पांडोट , पारगी , बंडोडा , बड़ , बरड़ा , बरगट , बरोड़ा , बाणिया , बामणा , बूझ , बूमड़िया , बोड , भगोरा , भदावत , भणांत , भाकलिया , मंडोत , मईड़ा , ममता , मनात , मसार , माणसा , माल , मालर , मीरी , रंगोत , रतनाल , राठोड़ , राणा , रावत , रेडोत , रेलावत , रेवाल , रोत , लउर , लट्ट , लट्ठा , वगाणा , वडेरा , वेणोत , वरहात , वराड़ा , वाहिया , सदाणा , सांगिया , सीवणा , सुरात , सोलंकी , हड़ात , हड़ाल , हरभर , हीराता , हीरोत , होंता , खांट , मचार , भूरिया , पाणियार , मकवाना आदि है ।


 भीलात , तोडा , घोरपाडे , गोहिल , बोटू , बुटिया , बाछल , भोगूले , आहरी , भागौरा , बुरडा , हूल , डाहलिया , गोडियाला , घेघलिया , अहेडी आहरी , मांगलिया , वसापा , अडिया , सीसोदा , थोरात , धोरण , असायच , तिबडकिया , बलला , डाहल , पारगी , पारधि , भागलिया , भोटला , गोहभार , गोरखा कोटेचा , आलीका , गरासिया , केलावा , आल , आलका , तेडवा , पीपाडा , धौरा , खेती , मोटासर , राणा , मलूसरे , परधे , आंगरिये , खकरकोटे , ओजकरे , मांगलिके कर कोटे , खांट , बेगा , आलियातर , ऊहड़ , पाहां , अताहातर , माहले मालवी , बसुणिया , मिलियाणा , मेर , टीबाणा , गोचरा , मेघा , लखडिया , मोडातर , माछला , गोधा , भाख्ला , चौधा , परोदा , माहीला , महीडां

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 राठौड़ ( सूर्यवंशी ) कुरियोत काठडोत , टोकरिया , भरल , भण्यांवत , चोरात , पीलोत , कलाहवा , रांधा , ब्यौचा , डांगी , टोकरिया , सिंधल , डगला , सोनवाल , होवाणा , गांधी , बोगिया , गवारडिया , धुजला , हढवाल , पारगे , खोखर , हुलवाणे , धूडला , धान्धल , बावरिये , हूलकर , दहिया , कोटेडा , चाडदे , टोरिया , कटैचा , भूरिया , कामालिया , कबरिया , छाजडिया , माहेचा , मुरसिया , गोबासिया , जौश , खोखरियां भाटी - राजड , कललर , मंगा , लध्दउ , मांगलिया , डग्गा , लवेरा , चरडिया , चिराणिया , मोकल , आमडिया , आमलिया , घावली , लोट , आदीवाल , सरवाण गुहाला , मारड , रबूडियाख पटेल , सारसर , केलियाणा , हडगा , भांड , घाड , डूबला , जस्सा , टंडल , खगडा , जेदिया , धूडिया , लीडिया , फलके , ढेकले , गोहले . बालट , संगेलिया , गूगण , बागरी , मांगलिया , घेघरे , राजेड , आभीर , पोड़ , गोडल भिया , ठक्कर , रावत , नाग , टाक , सिंघणियांख बलला , लाडख गड्डा , सूडासमा , सीहड़ नेमाल , भातर , बध्दा , सोत , सूद , रोज , मेर , लावा , डूल्गचं पंवार परमार , अग्रिवंशी , कलात , सोढा , बोयात , सिलाण , कूकात , काठा , राईका , सोलंकी , कांग , टाटिया , आकोडिया , सोखला , धोधीगा , बोखडा , कलालत , देलात , मालवी , निसाहरे , बिछियातर , हुण , बादी , बोरवट , मलगट , बोयत , बडवा , कालमा , हुरड , भील , लूछ , लोहदा , ताविड . , खांट , बोकडा , हीरोत , तेजात , बरकडा बलवे , धुणा , बसवि , सांगला , झांकरिया , डाबी , छापरवाला , नीमोत डामोर , पंराह , खरड , बिडला , चिरगा , माकोल , पाबरां , डिंडोर , कोली , गिडगापियां दायमा , बुवारडिया , चिरगा , भूरटिया , पुम्बर , ढीकिया , धोड़ , खेतात , रतनोत , रोज , फरण्ड , पोटाणा , अडिया , धोडिया , सोढा , मोरी , भतात , निकीयात , लोट , डाबल , गोहयार , महार , मालवी , डेढिया , रंगात , माकोल , पाबरां , डिंडोर , भायल , ऊमल , तामलोत , तरिल , रहलोत , गरेचा , खेटील , बलवी , पावरा , खट्टा , कोली , गिडगापियां दायमा , खुडियाल , गांगडा , डियात , बडगुजर , काबा , कोटियां , राठी , बारड , पांडोर , कुकणा , दडवारे , घोडाडामोर , रोत , बारेला , मलगट , बरगढ , हरेड , कुकडा , पिंगले , जोहिया , खैर , बारासा , बोमला , नवले , खटील , गेचंड , बोरड , तेरवा सांखलाप्रतिहार - पडियार ( अग्रिवंशी ) मंजात , गोरमात , चोरात , तावड , बालोत , भीलात , डाडरवाल , दुतिया , धून्ता , लूगरिया , लुलरिया , अगियातर , राबडिया , चरगोट , अहवा , अवा , बबला , कूटिया , खेचंड , डाबी , सोनाणा , धोरण , सूमडा , कालमो , ताडवी , बारवला , काडया , सानवाल , लूता , डाडिया , सिघपिया , शिन्दे , सावनिया सापनिया , डोड , डोडिया , सूंधिया , तकाडिया , मसानियां , धाधडा , लावां , कालडा , लावतिया , खोखर , रवारडा , धारिया , घोवाणा , धीमण , धीमोतर , खडिया , मूडिया , धणिता , धारवा , खुडा , करला , खरवड , जोरिया , कुगोरा , कापासिया , पुणी , पोणीबेट , ईन्दा , सिन्धेला , बाकला , तारवं चालुक्य सोंलकी , ( अग्रिवंशी ) मालात , बहल , सोनाणा , वेडयातर , बाघेला , बारवासिया , खारडू , जैदिया , धूसर , घटेडा , डंगा , डगला , धोरण , जागटिया , कटारिया , बहल , गोडियाला , बभेरवाल , द सांवत , गोग , नाहर , सटबहिया , गोंड , राणकिया , टाटी , टाटात , तांतिया , मलयावत , हलवाण , कालेर , मोडिया , ढाई , खराडी , खार , खण्डार , भरतड , कट्टा , वालणका , डाहल , तवज्या , तेजोत , एला , भूरिया , संदावत , कोटेड , भूणियां , धोडिमारिया , खण्डोर , कंडारे , खोटणा , चुडके , घांटगे , बाघमारे हद्दा चौहान ( अग्रिवंशी ) संरवांनी , वेद , चीता , मेरात , काठात , गौड़ , बरड , रावत , टोकरिया , बेगडात , अमरात . बरांडा , नाणा , बागडिया , भांड , धूनी , कुरड बग , खैराड , धौला , मौठिया , गूगा , डिडुरा , बामणिया , खारड , देवडा , देसाड , बलांडया , राजोरा , मुंडात , झोटाङ , खीची , सांवरिया , चूडी , चारण , गेचंड , टाक , कोटेड , झझोटड , बोचिया , बारेचा , धोधलिया , डेडरिया , सोनगारा , हाडा , देवडा , गुंदी , गूदरात , बोगिया , मेणा , चारण , बलोचा , चिंडारिया , डूमरवाल , लूगरिया , लीख , चिरजिया , ताहिड , गेटार , गागडिया , बरवासा , मोहिल , मेह , पांडेर , पेव , रावत , बोबडिया , कोहते , पशारे , चिड़फाल , मोहर , कोकातर , चाहड़ , पांसरे , फणसा , माल , बधराच , चांडया , धूणा , सांभरख हतावत , सररूपा , ढालरडा , हवासी , पावचा , निनाता , बाधोरा , भगौरा , हिरण , रोसिया , पबिया , नाहल , चीता , कापले , भीले , नाडोला , बांडर , चाबगर , दावरा , मावली , बसलिया , भुजलिया , बज , बडेहरा , चरपोटा , आहरी , बसावा , हरमौर , आमलिया , कटारा , समकाल , दाणा , बडबोरिया , रामा , महीडा , मदिडया , सरेल बूटोल , निनामा , पलात , डोकी , तेजोत , मांडिया , बीयोत , खार , डिंडोर , राणां बोयल , बोयत , लॅणवाल ( हेंढोदा ) बियागस , डोबल , बीवाल , कटिहार , घंटियाल , बोलान , गवालेरा ( गवारडिया ) जोहिया , ऊंटालिया , चौधे , बियावट , झाझोटा , इंदलिया , हढवाल , बाजपडा , तोमर , बारवाल , केलियाणा , धावडे , दढवाल , घोघरे , डाजला , कायथ , जाट , आलसीका , थूरी , दूसेना , बोडाणा , खोखर , भैइया , तन्तु , बोदरं पीटलया सरदार - 
( चन्द्रवंशी ) भोमट के भील राजा है इनकी गादी जावास हैं इनके गौत्र शाखाए : - कोचरा , परमार , धाइवियां , बरोडिया , याक , तंवर

55 टिप्‍पणियां:

  1. भील व नायक सामाज की जाति गोत्र व नख
    01.गोत्र=गुन्दावत,नख=गोयल।
    02.गोत्र=लीङियोत,नख=भाटी।
    03.गोत्र=जागटिया,नख=सोलंकी।
    04.गोत्र=कङवोत,नख=राठौङ।
    05.गोत्र=चुङियोत,नख=चौहाण।
    06.गोत्र=मलगोत,नख=पंवार।
    07.गोत्र=लोहरा,नख=चौहान।
    08.गोत्र=डगलोत,नख=राठौङ।
    09.गोत्र=बोस,नख=पंवार।
    10.गोत्र=अङिया,नख=पंवार।
    11.गोत्र=भोड,नख=भाटी।
    12.गोत्र=आलिकोत,नख=देवङा।
    13.गोत्र=खेतावत,नख=सिसोदिया।
    14.गोत्र=बुरावत,नख=परमार।
    15.गोत्र=दुबकोत,नख=भाटी।
    16.गोत्र=दुबलोत,नख=दहिया।
    17.गोत्र=ढेडंवाल,नख=वागेला।
    18.
    19.
    20.
    21.

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    1. जोगसन नक राठोड़

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    2. Dagla is one of surname of our community(Bhil) In Gujarat.

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    3. ढेडवाल नख वागेला की कुलदेवी कोनसी ह

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    4. Bheraram Parmar Majirana Padru

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    5. अरजून,कलासुआ

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    6. धुडिया परीवार गौत्र

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    7. सोलंकी परिवार आप सभी भील भाईयो का हार्दिक स्वागत अभिनंदन करता है

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    8. गोत्र- सांवरिया,नख -चौहान

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  2. डोडियार गोत्रकी कुलदेवी कों है, कुलदेवी का मंदिर कहा पे है,

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  3. सिंगेलिया गोत्र का नख क्या ह ओर कुलदेवी को है और निकास स्थान कोनसा ह भाई क्योंकि हमारे इलाके में हमे ठाकुर कहते है इसके पीछे का राज क्या ह भाई जी बताना यार 9996067141

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  4. Jhabua jile ke Khedi gaon mein rahte Hain Baberiya Jaat ka gotra kya hai

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    1. लाखनसिहं भील फूहाड (पूहाडिया)बररी गुना मध्यपरदेश भारत30 मई 2022 को 12:57 am बजे

      मेरा गोत्र नही लिखा है।

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  5. Paggi, गोत्र का नाम नहीं लिखा

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  6. आप आधी-अधूरी जानकारीयां देकर भोले-भुल्लकड़ भील समुदाय को एकबार फिर से गुमराह कर रहे होते हैं।क्योंकि संयुक्त भील समाज का शिर्षोपत्त(मत्थांसर,आभा-धरती)आदिमहा मलगोत्र को पंवारवंश से विटला हूआ बता रहे हो!!!हकिकत में तो मलगोत्र अर्थात: मलगढ़/मलगट या मलखटवंश संयुक्तभील परिवार का बुनियादी माईबाप माना और दर्ज हैं।मलगढ़ को मलगोत लिख लेनें से कोई अलगीकरण नहीं कीया जा सकता।डगला को डिगलर लिख लेनें से कोई हकिकतों को छिपाया नहीं जा सकता!!!डगला अर्थात: साधारण माटी के ढगळे(ढैंम्पें)के नाम पर उसका परिवर्तित नामांकन ढगला या डगला हूआ।समस्त भील समाज में
    इकलोता मलगढ़ नामक आदिवंश को छोड़ शेष सभी वंशवादी अराजकवादीवंशों के नाम(नख या न:खा)हैं।जिनका भीलवंश से महाविलयन न:छतरियकरण महाभियानसमकालिन हूआ माना जाता हैं।तत्कालिन भीलसमाज के पारंम्परिक धारक(विश्व-बुनियाद
    अभिष्ट-पुरुष)इष्ट-मलगट राजा नें हुक्म फरमान(आदेश)कर उन अवशौषित(ओबार-सोबार,दयायाचीका उपरांन्त जीवनदान पाकर) राजकुमारों का भील परिवार से वैवाहिक तालुक शुरू करवाया गया।और सभी राजकुमारों का पुराना नाम-ए-निशांन् मिटाकर नया नाम(गू-कांचली)प्रदान कीया। जो उनकी गुणवत्ताओं,मांगो और इष्टों(विरध,
    शिद्धांन्तों,अलंकारों)पर आधारित थे।आज भी रूढ़ि-न्यायगुरू के रूप में स्थाई पद्दाधिकारी हैं।भीलों के असली दक्षागुरू मलखट हैं।आजकल के संकरप्रवृतक भूले-भटके भील गेरों से दिक्षा संस्कार करवाकर परमती की चपेट में जाकर पतन को आमंन्त्रण दे रहे होते हैं।जो कि एक समाजिक दोष माना गया हैं इसे फिर से न करें।भील आदिवंशज हैं।जिसको आद्पुरुष के नाम से भी जाना जाता हैं।प्राचीनकाल अर्थात: आदिरामायणकाल दोरान भीलों को मरू के नाम से पुकारते थे।कमेरू-समेरू नामक आदिराजपुरुष(भील)थे।जिनका वर्णंन कल्पित स्वर्ग में स्वर्णापरबत नाम से हैं।जिनके नाम जिक्र से मरण सहि(सु-मरण,सिमरन)अर्थात: सुधरता हैं।ऐसे विश्ववंन्दनिय आदिपुरुषों,मलखटों और आप सभी को जयसेवा जोहार

    मलखट राजा और शेष सभी सेवादार हैं।जय जोहार।।।

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    1. मलखट जाती की कुलदेवी कौन सी है! और उनका उद्गमस्थल कहाँ पर है!

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    2. मे ऐक मलखठ हू जी

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  7. माना जाता हैं कि महाभारत प्रलयन् समकाल बाह्मण के चालिस कला(गुणवत्ताऐं),छतिष्य के 36,वैश्या के बीस,बिस्नोई के20+9=29रूल्स)शुदर के 16 और आद्पुरुष अर्थात: आदिवासी(मरुवंशज,भीलबीज)के 100गुण मानें गये हैं।आदिवासी भील(मरु)जंगल से गुजरता हैं तब पंछी-पंखेरूओं में संवेदना का संवहन होना शुरु हो जाता हैं।

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  8. आदिरामायणकाल दोरान जो भील थे वह किस जाति या नख के थे???बताईये।
    आपनें जो नख(उपजाति)लिखा हैं नख का मतलब क्या होता हैं?आपनें तो बाप को भी परपोत्र के स्थान पर दर्ज कर दीया हैं।मलखट भील ही असली आदिवंशज् हैं।अन्य सभी राज्यपुतरों से विटल कर महानभीलराज को अंगीकार हूऐ।

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  9. बोडाणा लौहार जाति का इतिहास

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  10. सिंगाड'सिंगार गोत्र नही हे जो झाबूआ राणापूर खवासा पेटलावद बदनावर ईन्दोर ओर भी बहुत संख्या में लोग रहते हैं क्रपया कर के जोडे

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  11. नाहर गोत्र भी जोड़िए भील जाती में

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  12. जाति भील गोत्र डगला नंख राठौड़ कुलदेवी मालण माता एंड मोमाई माता निवासी कोटड़ी राजस्थान जिला बाड़मेर !

    हम हिंदू धर्म मानते हैं मूर्ति पूजा भी करते हैं!
    अंतिम संस्कार भी करते हैं!
    अस्थियां बहाने गंगा जी भी जाते हैं!
    विवाह भी हिंदू रीति-रिवाज से करते हैं!

    हमारा विवाह ईन गोत्र में होता है=
    चूड़ी,
    खेती,
    मेणा,
    आलीखा
    लिड़िया
    गुंडी
    जागटीया
    जिस भील के पीछे नंख लगता है उस भील के घर ही शादी होती हैं!

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  13. में सीताराम भील मेरा गौत्र नहीं है इसमे डंढाऊ

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  14. वेरसीराम भील मलखड

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